Quantcast
Channel: अनुशील
Viewing all articles
Browse latest Browse all 670

प्रतिभा, तुम्हारी प्रेरणा से... तुम्हारे लिए!

$
0
0

प्रतिभा... मेरी प्रिय दोस्त... मेरी रूम मेट... उन दिनों की दोस्त जब हम रोते हुए बनारस आये थे और साल भर रोते ही रहे, घर लौट जाने की जिद लिए...! तब हमें झेलने वाली... समझाने वाली... सँभालने वाली... प्यारी रूम मेट... प्यारी दोस्त...!
वो दिन बीत गए, फिर और पांच वर्ष गुजर गए... दूर हो गए हम, बनारस भी छूट गया... पर आज जब बात हुई तो लगा जैसे वही कीर्ति कुञ्ज हॉस्टल हो, और वही हम हों... २००१ में जैसे थे वैसे ही... न समय बदला हो... न हम... 
सच, कुछ बातें कभी नहीं बदलती... हम भी नहीं बदलेंगे कभी... है न प्रतिभा...?


तुम एक ही थी...
तुम एक ही हो...


अपने आप में अनोखी...
अद्भुत...


चेहरे पर तेज़...
मन में दृढ़ निश्चय...
और जीवन के प्रति
एक अनूठी आस्था के साथ...
चलायमान...
अग्रसर...


अपने सपनों के लिए
अपनी ज़मीन तराशती
संकल्पों के बीज रोपती नमीं थी तुम...


उन बेफिक्र दिनों में भी
एक जुदा आसमान... एक अलग ज़मी थी तुम...


आज जब तुमसे बात हुई न
जानती हो,
बनारस...
और वो हॉस्टल का हमारा कमरा बहुत याद आया...
इतना, कि
सजीव हो उठा...
कितने छूट गए
राह में साथी कितने रूठ गए
पर वो लम्हा साथ रहा...
कभी नहीं रूठा...


वो लम्हा
जो हमने साथ जिया था...
काशी की पुण्यभूमि में
कभी हमने भी सांस लिया था...


आज भी सब पूर्ववत है...
यथावत है...

बह ले जितना बहना है, ज़िन्दगी...
कह ले जो जो कहना है, ज़िन्दगी...

ये हमारी सिफ़त है...
ये हमारी प्रतिभा है...
कि...
ज़िन्दगी! हम तुम्हें हृदय से लगाये
आज भी यथावत हैं...


भले
दूर चले आये हैं...
पर अब भी हम वहीँ कहीं उसी माटी में रमे हैं...
वैसे ही बादल हृदयाकाश पर अब भी छाए हैं...


सच बस इतना है...
आसमान हमारे सपनों जितना है...


दोस्त! जितने नेक सपने हैं...
उतना बड़ा तुझे आसमान मिले...
छोटी छोटी खुशियों को रचते संवारते
राह में तेरे अनगिनत पुष्प अभिराम खिले...


सफलता तेरी अनुयायी हो...
तेरे दामन में अनंत सितारों की रौशनी समायी हो...


हृदय से निकले स्वर
हृदय तक की राह तय करें...
उन दिनों भी बहुत कुछ सीखा था तुमसे
आज भी तुमसे प्रेरित हो हम कोई मीठा सा जीवन गीत गढ़ें...!


Viewing all articles
Browse latest Browse all 670

Trending Articles



<script src="https://jsc.adskeeper.com/r/s/rssing.com.1596347.js" async> </script>